#उलटे_काया_पलटे_माया
🌿 अनन्त ब्रह्मांड में हम एक महीन से कण मात्र जरूर है किंतु...
🌿 हमारी इसी काया में ही समस्त ब्रह्मांड भी समाया है।
🌿 मूलभाग में चंदा है तो सहस्त्र में सूर्य भी है
🌿 त्रिवेणी का संगम भी है तो महासागर भी मौजूद है
🌿 तत्व है तो प्रकृतिया भी इसीमे स्थित है
🌿 शिव भी है शक्ति भी है
नाथ जी कहते है कि :- इस काया में जो निरन्तर अनाहत नाद बजता रहता है ...
उसे खोजो
उसे सुनो
🌿 जब काया उलटने लगेगी अर्थात:- भीतरी दर्शन होने लगेंगे तो माया भी पलटने लगेगी
( स्वयं का भेदन स्वयं ही करना होता है )
अलख आदेश
जय गुरु धर्मनाथ आदेश आदेश
#नाथजी_की_फौज_करेगी_मौज
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